इस्लामाबाद.पाकिस्तान में जो शख्स साइंस एंड टेक्नोलॉजी मिनिस्टर बना बैठा है, जिस पर देश को वैज्ञानिक दिशा में आगे ले जाने की जिम्मेदारी है, वह सूर्य ग्रहण और चंद्र ग्रहण में अंतर नहीं जानता है। पूरी दुनिया ने करीब एक दशन के बाद 21 जून को सूर्य ग्रहण देखा गया,
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लेकिन चौधरी फवाद हुसैन इस दौरान चंद्रग्रहण के बारे में जानकारी फैला रहे थे। पाकिस्तान में विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री चौधरी फवाद हुसैन ने ट्विटर पर इस खगोलीय घटना सूर्य ग्रहण से तीन दिन पहले अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर लिखा- “चंद्र ग्रहण पर कुछ और जानकारी।
” दिलचस्प बात यह है कि उन्होंने चंद्र ग्रहण के बारे में जानकारी देने के लिए जो दस्तावेज साझा किया था, उसमें सूर्य ग्रहण, उसके समय आदि के बारे में बात की गई थी। उस ट्वीट को पोस्ट करने के तुरंत बाद, सोशल मीडिया पर उन्हें ट्रोल किया जाने लगा। ट्विटर यूजर्स ने उनके “गलत सूचना” देने के लिए उनका जमकर मजाक उड़ाया।
कुछ ने उन्हें याद दिलाया कि यह एक सूर्य ग्रहण है, कुछ ने उनसे ट्वीट को वापस लेने के लिए कहा, जबकि कुछ अन्य थे, जिन्होंने अपने ट्वीट में केवल मजाकिया मीम्स शेयर किए। बताते चलें कि पाकिस्तान में स्काईवॉचर्स ने एक नाटकीय “रिंग ऑफ फायर” सूर्य ग्रहण देखा।
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सुक्कर और गावदार क्षेत्रों में क्रमशः 98 और 97 प्रतिशत से अधिक कवरेज के साथ यह खगोलीय घटना देखी गई।पाकिस्तान के मौसम विभाग के अनुसार, आंशिक ग्रहण सुबह 8 बजकर 46 मिनट पर पाकिस्तान में शुरू हुआ और दो बजकर 34 मिनट पर समाप्त हुआ.
ग्रहण करबी 11.40 बजे अपने चरम पर था। कराची और लाहौर में 91 फीसदी ग्रहण को देखा गया, जबकि गिलगित में सबसे कम केवल 74 फीसदी कवरेज देखा गया।